लोकसभा चुनाव को लेकर सियासी सरगर्मियां अपने चरम पर पहुंच चुकी है। जहां एक तरफ बीजेपी में इसे लेकर उलटफेर का सिलसिला शुरू हो चुका है, तो वहीं कांग्रेस में बैठकों का दौर जारी है। बीते दिनों पटना में विपक्षी दलों की बैठक के बाद अब बेंगलुरु में अगली बैठक प्रस्तावित है। उधऱ बीजेपी सभी राज्यों के चुनावी समीकरणों को आगामी लोकसभा चुनाव के दृष्टिगत ध्यानपूर्वक अवलोकन कर आगे की रूपरेखा तैयार कर रही है। इसी कड़ी में बीजेपी ने पंजाब को लेकर बड़ा फैसला किया है। दरअसल , पिछले कुछ दिनों से इस बात के कयास लगाए जा रहे थे कि बीजेपी अकाली दल के साथ मिलकर लोकसभा चुनाव लड़ सकती है, लेकिन अब इन कयासों पर खुद पंजाब बीजेपी के प्रभारी व गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने विराम लगा दिया है । आइए, आगे आपको बताते हैं कि उन्होंने क्या कुछ कहा है ?
दरअसल, उन्होंने मीडिया से बातचीत के दौरान दो टूक कह दिया कि बीजेपी पंजाब में अकाली दल के साथ मिलकर चुनाव नहीं लड़ेगी। बीजेपी पंजाब की 13 लोकसभा सीटों पर अकेली ही चुनाव लड़कर अपनी जीत सुनिश्चित करेगी, तो विजय रुपाणी के इस बयान से साफ हो चुका है कि लोकसभा चुनाव में बीजेपी और अकाली दल की राहें अलग-अलग रहेंगी।
ध्यान दें किसान आंदोलन के दौरान आंदोलकारी किसानों का पक्ष लेते हुए अकाली दल बीजेपी की अगुवाई वाली एनडीए से अलग हो गई थी। वहीं, एनडीए से अलग होने के वक्त हरसिमरत कौर ने स्पष्ट कर दिया था कि वो बीजेपी के साथ वह हाथ कभी नहीं मिलाएगी। इस बीच जैसे ही अकाली दल का बीजेपी के साथ गठबंधन को लेकर कयास तेज हुआ तो सभी के होश एक पल के लिए उड़ गए, लेकिन अब बीजेपी ने खुद सामने आकर इस पर अपना रुख स्पष्ट कर दिया है। इससे पहले सुप्रिया सुले ने भी स्पष्ट कर दिया है कि बीजेपी और अकाली दल अलग-अलग चुनाव लड़ेगी।
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