आंखिर क्यों महबूब खान ने लिया था नरगिस से लोन

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नई दिल्ली। दीदार, आवारा और बाबुल जैसी सुपरहिट फिल्मों में काम कर चुकीं एक्ट्रेस नरगिस के करियर में ‘मदर इंडिया’ मील का पत्थर साबित हुई थी। फिल्म में नरगिस लीड रोल में थीं और इसे महबूब खान ने डायरेक्ट किया था। ये साल 1940 में रिलीज हुई फिल्म ‘औरत’ का रीमेक थी। औरत को एक नए तरीके से पर्दे पर उतारने के लिए महबूब खान ने फिल्म ‘मदर इंडिया’ को पर्दे पर उतारा था। पहले फिल्म का बजट 25 लाख रुपए होना था, लेकिन धीरे-धीरे इसका बजट बढ़ने लगा। बजट बढ़ने के पीछे की मुख्य वजह थी कि फिल्म की शूटिंग ज्यादातर बाहर हो रही थी। फिल्म के लोग लगातार यात्रा कर रहे थे। ऐसे में महबूब खान के पास मौजूद फंड खत्म होने लगे। उन्होंने फिल्म पूरी करने के लिए नरगिस से मदद मांगी। नरगिस उस दौरान एक बड़ी एक्ट्रेस बन चुकी थीं और वह उस स्थिति में भी थीं कि महबूब खान की मदद कर सकें। नरगिस की मां भी महबूब खान के साथ काम कर चुकी थीं और नरगिस को ब्रेक देने वाले भी महबूब खान ही थे। नरगिस ने बिना कुछ सोचे और समझे मदद के लिए हां कर दी। ‘RJ राहुल’ के मुताबिक, जो फिल्म 25 लाख रुपए में पूरी होनी थी, अब उसका बजट देखते ही देखते 50 लाख का आंकड़ा पार कर गया। दरअसल फिल्म की शूटिंग पूरी करने के लिए बहुत सारे किसानों को हायर किया गया था और कई बैलगाड़ियों को भी बनवाया गया था। फिल्म की शूटिंग के दौरान ही नरगिस की मुलाकात सुनील दत्त से हुई थी। शूटिंग के दौरान एक शॉट में नरगिस दत्त आग में फंस गई थीं। यहां उनकी मदद के लिए जब कोई आगे नहीं आ रहा था तो सुनील दत्ते आगे आए थे। इसमें सुनील दत्त को गंभीर चोटें भी आईं थीं। इसके बाद कई दिनों तक नरगिस ने उनकी देखभाल महबूब खान के घर पर ही की थी। बाद में नरगिस और सुनील दत्त ने शादी कर ली थी। फिल्म की सफलता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि साल 1957 में मदर इंडिया ने 8 करोड़ रुपए का बिजनेस किया था। इसकी टक्कर दिलीप कुमार की फिल्म नया दौर से थी। मदर इंडिया में बेहतरीन एक्टिंग के लिए नरगिस को फिल्म फेयर अवॉर्ड भी मिला था।